Tuesday, April 22, 2014

एक तेरे आने से


लो मै तेरा हुआ बन जा अब तू भी मेरी
साथ नग्मे कुछ गुनगुनाये ज़रा
हाथ में हाथ तेरा हो फिर मुक़्क़मल हु मै
बिन तेरे मै अब एक पल ना रह पाउँगा
हुई कोई खता तो हो जाना खफा
पर ऐसा नहीं की मर ही जाऊ मै
सितारों से भरी इस चाँदनी रात में
मै हु अकेला बस है एक चाँद की कमी
एक तेरे आने से रौशन हो जायेगा सब
पूरी हो जाएगी मेरी चाहतो की सारी कमी
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आलोक पाण्डेय 

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